कोरोना काल में हुआ अनुकरणीय विवाह

बिलासपुर– ऐसे समय में जब पूरा विश्व कोरोना महामारी से भयभीत है, मानव समाज के सामाजिक प्रथाएँ और रीति नीति में भी सकारात्मक बदलाव आ रहा है। शादी ,मृत्यभोज ,जन्मदिन जैसे कार्यक्रमों में व्यर्थ,आडंबर और जरूरत से ज्यादा खर्च होता है।अब करोना की वजह से शासन के नियमानुसार मानव सामाजिक परिवर्तन को मजबूरन सही पर स्वीकार रहा है।
ऐसा ही उदाहरण ग्राम सेमरताल में दिखा जब दुर्गेश यादव पिता खदुवा यादव की शादी हो रही है।गाँव में बेहद सादे कार्यक्रम में गिनती के अतिपारिवारिक लोग शामिल हुए ,वही सलखा बेलतरा बारात में केवल पच्चीस लोग गए।शादी के सभी प्रक्रिया के दौरान मास्क और सेनेटाइजर का प्रयोग किया गया।शादी के लिए बकायदा शासन से अनुमति ली गई है।इसी क्रम में नियमो का पालन करते हुए लव धीवर पिता जगत धीवर की बारात निकली,और यादगार शादी संपन्न हुई।ग्राम सरपंच , गाँव के बड़े बुजुर्गों और प्रगतिशील बालोघान समिति के युवाओं ने दुल्हा,दुल्हन के सुखद भविष्य की कामना की है। महामारी के चलते ही सही पर ,सामाजिक कार्यक्रमों में होने वाले बेकार की भीड़,अनावश्यक खर्चों, मघपान, आदि प्रथाओं का अंत होना ही चाहिए।